Generation of Computer in Hindi (कंप्यूटर की पीढ़ियाँ)
हमारे जीवन में आधुनिकता का दौर चल रहा है, और इसमें कंप्यूटर एक महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है। कंप्यूटर ने हमारी दुनिया को बदल दिया है और हमारे जीवन को सुगम और उत्तेजित किया है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा है कि कंप्यूटर के विकास का सफर कैसा रहा है? जी हां, हम बात कर रहे हैं “कंप्यूटर की जनरेशन” (Computer Ki Generation in Hindi) की। यह आपको नहीं पता होगा कि कंप्यूटर भी अपनी जनरेशनों में विकसित हुए हैं, और हर एक जनरेशन ने अपने तरीके से यह सुनिश्चित किया है कि कंप्यूटर उन्नति का मार्ग अपनाए। इस लेख में हम आपको कंप्यूटर की विभिन्न जनरेशनों के बारे में विस्तार से बताएंगे, ताकि आप इस अद्भुत तकनीकी महाशक्ति के विकास को समझ सकें।
History of Generation of Computer in Hindi – कंप्यूटर के पहले से अब तक का सफर
कंप्यूटर की जनरेशन का अध्ययन करने से पहले, हमें पहले से ही जान लेना चाहिए कि आधुनिक कंप्यूटर का जन्म कैसे हुआ। 1940 के दशक में एक अमेरिकी महाविद्यालय, हार्वर्ड यूनिवर्सिटी, में प्रोफेसर हावर्ड एकिंस और उनके सहयोगियों ने पहला आधुनिक कंप्यूटर विकसित किया था। इसे “हार्वर्ड मार्क 1” नाम दिया गया था और यह विशाल आकार वाला था, 51 फीट लंबा और 8 फुट ऊँचा। इसका वजन लगभग 5 टन था, जिसमें 3,500 बिजली के ट्यूब इस्तेमाल होते थे। यह कंप्यूटर पंचम सूत्रों का उपयोग करता था, जिन्हें पुनरावृत्ति या इटेरेशन कहा जाता है। यह कंप्यूटर सिर्फ 3 सेकंड में एक प्रमुख संख्या को तय करने की क्षमता रखता था। जबकि इसे सेंटीमीटर में मापते हुए इसकी क्षमता 60,000 प्रति सेकंड थी।
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Generation of Computer 1st to 5th in Hindi (पहली से पांचवीं तक कंप्यूटर की जनरेशन)
पहली जनरेशन (1940-1956):
दूसरी जनरेशन (1956-1963):
तीसरी जनरेशन (1964-1971):
चौथी जनरेशन (1971-1989):
पांचवीं जनरेशन (1989-वर्तमान):
पीछे की ओर मुड़ने से पहले हम आगे बढ़ें!
First Generation of Computer in Hindi – पहली जनरेशन (1940-1956):
आधुनिक कंप्यूटर की पहली जनरेशन को ‘वैक्यूम ट्यूब’ की जनरेशन के रूप में भी जाना जाता है। वैक्यूम ट्यूब सबसे पहले उपयोग में आने वाला उपकरण था जो कंप्यूटर को शक्ति और आवेशनीय तरीके से संचालित करने में मदद करता था। इस जनरेशन के कंप्यूटर ज्यादातर पंचम सूत्रों का उपयोग करते थे और इसमें प्रति सेकंड गणना की गई थी। इस जनरेशन के कुछ मुख्य कंप्यूटर हैं:
- IBM 701, जो 1952 में बनाया गया था और 19 बिजली के वैक्यूम ट्यूब का उपयोग करता था।
- IBM 650, जो 1954 में बनाया गया था और एक आप्शनल कार्ड पंचांग इंटरफ़ेस के साथ आता था।
Second Generation of Computer in Hindi – दूसरी जनरेशन (1956-1963):
दूसरी जनरेशन की प्रमुख विशेषता थी ‘त्रांजिस्टर’ का प्रयोग करना। त्रांजिस्टर एक उपकरण है जो वैक्यूम ट्यूब के सामान काम करता है, लेकिन यह ज्यादा छोटा, तेज, और कम बिजली का उपयोग करता है। इससे कंप्यूटर का आकार और खर्च कम हो गए। कुछ प्रमुख दूसरी जनरेशन के कंप्यूटर हैं:
- IBM 1401, जो 1959 में बनाया गया था और कार्ड पंचांग पढ़ने और लिखने की क्षमता रखता था।
- IBM 7094, जो 1962 में बनाया गया था और समय अंतरालों के अनुसार कार्य करने की क्षमता रखता था।
Third Generation of Computer in Hindi – तीसरी जनरेशन (1964-1971):
तीसरी जनरेशन में ‘इंटीग्रेटेड सर्किट’ के प्रयोग के साथ एक और महत्वपूर्ण प्रगति हुई। इंटीग्रेटेड सर्किट में कई तरह के संदर्भ में अलग-अलग इलेक्ट्रॉनिक संगठनों को एक ही चिप में एकत्र किया जाता है। इससे कंप्यूटर की स्पीड और क्षमता बढ़ी और उपयोगकर्ताओं को अधिक सुविधाएं मिलीं। तीसरी जनरेशन के कुछ मुख्य कंप्यूटर हैं:
- IBM 360, जो 1964 में बनाया गया था और पहला पूर्ण रूप से व्यावसायिक कंप्यूटर माना जाता है।
- Honeywell 2000 सीरीज़, जो 1971 में बनाया गया था और पहला वॉर्ड प्रोसेसिंग कंप्यूटर था जो अद्यतनीय शब्दकोश इंटरफ़ेस भी प्रदान करता था।
Fourth Generation of Computer in Hindi – चौथी जनरेशन (1971-1989):
चौथी जनरेशन में ‘वीएलएसआई’ (Very Large Scale Integration) के विकास के साथ कंप्यूटर के आकार और क्षमता में और भी वृद्धि हुई। इसमें कई इंटीग्रेटेड सर्किट्स को एक ही चिप में संयोजित किया गया था। चौथी जनरेशन के कुछ मुख्य कंप्यूटर हैं:
- डेक VAX-11/780, जो 1977 में बनाया गया था और मिनीकंप्यूटर के रूप में प्रस्तुत किया गया था।
Fifth Generation of Computer in Hindi – पांचवीं जनरेशन (1989-वर्तमान):
पांचवीं जनरेशन की प्रमुख विशेषता है ‘उल्ट्रा-लव’ (Ultra Large Scale Integration) के विकास का उपयोग करना। इसमें बहुत सारे इंटीग्रेटेड सर्किट्स को एक चिप में संयोजित किया जाता है, जिससे कंप्यूटर की क्षमता और गति अधिक होती है। इस जनरेशन के कंप्यूटर आजकल के समय में उपयोग हो रहे हैं और तकनीकी उन्नति में लगातार सुधार हो रहा है। कुछ प्रमुख पांचवीं जनरेशन के कंप्यूटर हैं:
- Pentium पेंटियम, जो 1993 में बनाया गया था और व्यक्तिगत कंप्यूटर के लिए पॉपुलर था।
- Intel Core i7, जो 2008 में बनाया गया था और बहुती उच्च स्तरीय कार्य प्रदान करता है।
जैसा कि हमने देखा, कंप्यूटर की जनरेशन एक नयी प्रौद्योगिकी की प्रागति का प्रतीक है। हर एक जनरेशन के साथ, हमारे कंप्यूटर में तेजी से विकास हुआ है और हमारी जरूरतों को पूरा करने के लिए बेहतर सुविधाएं प्रदान करने में सक्षम हुए हैं। आजकल के समय में, पांचवीं जनरेशन के कंप्यूटर हमारे जीवन का अटूट हिस्सा हैं, जिससे हमारे कार्य और संचार को आसान और तेज बनाने में मदद मिलती है।
कंप्यूटर की जनरेशन हमारे सूर्य मंडल की तरह हैं। हर एक जनरेशन नयी ऊर्जा और प्रगति का प्रतीक है, जो हमें आगे बढ़ने और नई ऊंचाइयों को छूने की संभावनाएं प्रदान करता है। हर जनरेशन के साथ, कंप्यूटर तकनीक में Update होता रहा है और हमारे जीवन में उच्च स्तर की सुविधा, संचार, और सुरक्षा प्रदान करने की क्षमता में वृद्धि होती रही है। आजकल कंप्यूटर हमारे जीवन का महत्वपूर्ण हिस्सा है और हमें नए और उन्नत समाधान प्रदान करने में सहायता करता है।
संक्षेप में
First Generation of Computer in Hindi – (पहली जनरेशन कंप्यूटर): इलेक्ट्रॉनिक वैक्यूम ट्यूब का उपयोग करने वाली इस जनरेशन में कंप्यूटर अत्यंत बड़े और भारी होते थे।
Second Generation of Computer in Hindi – (दूसरी जनरेशन कंप्यूटर:) ट्रांजिस्टर का आविष्कार करने से इस जनरेशन के कंप्यूटर छोटे, तेज़ और उच्चतर प्रदर्शन देने वाले हो गए।
Third Generation of Computer in Hindi – (तीसरी जनरेशन कंप्यूटर): इस जनरेशन में इंटीग्रेटेड सर्किट का उपयोग होने लगा, जिससे कंप्यूटर के संख्यात्मक क्षेत्र में वृद्धि हुई।
Fourth Generation of Computer in Hindi – चौथी जनरेशन कंप्यूटर: वॉल्क इन वातानुकरण (VLSI) तकनीक का प्रयोग करने से इस जनरेशन में कंप्यूटर नए आकार में आए और उच्चतम स्तर पर प्रदर्शन करने लगे।
Fifth Generation of Computer in Hindi – पांचवीं जनरेशन कंप्यूटर: यह जनरेशन विद्युतीय तथा नैनो तकनीक के विकास के साथ आया है और वाणिज्यिक उपयोग के साथ-साथ उच्चतम स्तर की सुरक्षा और उत्कृष्टता प्रदान करता है।
इस लेख के माध्यम से हमने कंप्यूटर की जनरेशनों के बारे में विस्तार से जानकारी प्राप्त की है। हमने देखा कि प्रत्येक जनरेशन ने कंप्यूटर की विकास और प्रगति में बहुती महत्वपूर्ण योगदान दिया है। हमने इन जनरेशनों के बारे में विस्तृत जानकारी प्रदान की है, साथ ही उनकी मुख्य विशेषताओं को भी वर्णित किया है। आजकल के समय में पांचवीं जनरेशन के कंप्यूटर हमारे जीवन का अटूट हिस्सा हैं और हमें इनका सही उपयोग करके तकनीकी उन्नति में आगे बढ़ना चाहिए।
अंत में, कंप्यूटर की जनरेशन एक रोचक विषय है जिसका अध्ययन हमें कंप्यूटर के विकास और प्रगति की समझ में मदद करता है। हमने यहां उन सभी जनरेशनों को विस्तार से देखा है, जिनसे हमारे कंप्यूटर उच्चतम स्तर पर पहुंचे हैं। हर एक जनरेशन ने नए संचार और कंप्यूटिंग के संभावित रास्ते खोजे हैं, जो हमें उन्नति के लिए प्रेरित करते हैं। कंप्यूटर की जनरेशन हमें यह दिखाती है कि प्रौद्योगिकी कैसे स्थायी रूप से बदलती रहती है और हमें नए और बेहतर समाधानों की ओर ले जाती है।
जनरेशनों के विषय में आपका ज्ञान बढ़ाने के लिए हमने एक कंप्यूटर की जनरेशनों का संक्षेपित इतिहास प्रस्तुत किया है। आशा है कि यह जानकारी आपके लिए उपयोगी साबित होगी और आपको कंप्यूटर के विकास को समझने में मदद करेगी।
धन्यवाद!